इंसान और यमराज
हर-तरफ अंधेरा है
मौत का साया
हर जिंदादिलों को
डस रहा है।
‘मौत’ कोई नयी बात तो नहीं,
पहले भी तो लोग मरते थे
मगर आज ‘मौत’ से
इतना डर क्यूँ?
पहले मौत का रखवाला
एक यमराज होता था।
मगर आज
एक इंसान,
दूसरे इंसान के खून का प्यासा हो गया है।
तभी तो लगता है,
आज का इंसान यमराज हो गया है।
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